निंदक / On critics Posted on March 6, 2022March 6, 2022 By Admin Comedy Majors No Comments on निंदक / On critics Funny poetry, हिन्दी जोक्स निंदक बाबा वीर हमारा बिनही कौड़ी कहे बिचारा आप डूबे, औरन को तारे ऐसा प्रीतम पार उतारे कवि दादू Share this:FacebookXLike this:Like Loading...